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सियासत
| बड़ा आर्टिकल
आईचौक
@iChowk
नीतीश कुमार 2024 में बीजेपी को कमजोर कर पाये तो भी बड़ी उपलब्धि होगी
विपक्षी दलों की हरियाणा रैली (Opposition Rally) में अच्छा खासा जमावड़ा देखने को मिला. रैली में नेता तो नीतीश कुमार (Nitish Kumar) ही नजर आ रहे थे, लेकिन अगले आम चुनाव (General Election 2024) के हिसाब से मंच पर अधूरा विपक्ष ही मौजूद नजर आया.
सियासत
| बड़ा आर्टिकल
मृगांक शेखर
@msTalkiesHindi
ममता बनर्जी की मंशा क्या है - विपक्ष का नेता बनना या सोनिया का 'खेला' बिगाड़ना?
राष्ट्रपति चुनाव (President Election 2022) में विपक्ष को एकजुट करने की सोनिया गांधी (Sonia Gandhi) की पहल के बाद अब ममता बनर्जी (Mamata Banerjee) भी मैदान में कूद पड़ी हैं - और जिस तरह तृणमूल कांग्रेस नेतृत्व संपर्क साधा है उसका दायरा कांग्रेस नेतृत्व से बड़ा नजर आ रहा है.
सियासत
| बड़ा आर्टिकल
मृगांक शेखर
@msTalkiesHindi
एमके स्टालिन का दिल्ली प्लान भी ममता जैसा ही है, लेकिन दोनों के एजेंडे में फर्क है!
एमके स्टालिन (Mk Stalin) भी देश के उन मुख्यमंत्रियों की कतार में शामिल हो गये हैं जिन्हें दिल्ली की राजनीति (National Politics) खींचने लगी है, लेकिन ममता बनर्जी (Mamata Banerjee) और स्टालिन में बड़ा फर्क ये है कि डीएमके सोशल जस्टिस के मुद्दे पर आगे बढ़ रही है.
सियासत
| बड़ा आर्टिकल
मृगांक शेखर
@msTalkiesHindi
Constitution Day पर मोदी को संसद में चुनावी रैली से विपक्ष रोक भी सकता था!
संविधान दिवस (Constitution Day) समारोह के बहिष्कार की विपक्षी दलों (Opposition Parties) ने पहले ही घोषणा कर दी थी, लिहाजा चुनावी सीजन में मिले मौका प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (Narendra Modi) ने भरपूर इस्तेमाल किया - क्या विपक्ष चाहता तो ऐसा होने से रोक नहीं सकता था?
सियासत
| 5-मिनट में पढ़ें
देवेश त्रिपाठी
@devesh.r.tripathi
भारत के वामपंथी नेताओं के लिए देश की सीमा से ज्यादा चीन की तारीफ जरूरी है!
जब चीन के राजदूत गलवान घाटी की झड़प पर अपने देश को पाक साफ बता रहे थे, तब वामपंथी नेताओं ने देशहित को बड़ा मानते हुए इसका विरोध क्यों नहीं किया? लेकिन, इस मामले पर विवाद के बाद वामपंथी नेता डी राजा ये कहना नहीं भूले कि किसी को भी कम्युनिस्टों को राष्ट्रहित सिखाने की जरुरत नहीं है.
सियासत
| बड़ा आर्टिकल
आईचौक
@iChowk
मोदी सरकार से लोगों का मोहभंग होते देख विपक्ष हावी होने की कोशिश में
कोविड 19 से पैदा हालात में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (Narendra Modi) के खिलाफ सोनिया गांधी (Sonia Gandhi) को शरद पवार (Sharad Pawar) का भी साथ मिल गया है - जो चीन के मुद्दे पर मोदी सरकार का बचाव और कांग्रेस नेतृत्व को कठघरे में खड़ा कर चुके हैं.
सियासत
| बड़ा आर्टिकल
मृगांक शेखर
@msTalkiesHindi
Farooq Abdullah: रिहाई जम्मू-कश्मीर में कितना फर्क लाएगी?
फारूक अब्दुल्ला (Farooq Abdullah) की 7 महीने बाद हुई रिहाई जम्मू-कश्मीर के जमीनी हालात में हुए सुधार का संकेत है. सूबे में पंचायत चुनाव की तैयारी और परिसीमन (Jammu-Kashmir Delimitation Process) के काम भी चल रहे हैं - ये रिहाई वैसी ही कोशिशों की कड़ी में से एक लगती है.
सियासत
| 7-मिनट में पढ़ें
आईचौक
@iChowk
सत्यपाल मलिक ने जम्मू-कश्मीर के अगले 6 महीने की तस्वीर साफ कर दी है!
जम्मू-कश्मीर के लिए अगले छह महीने बेहद महत्वपूर्ण नजर आते हैं. तब तक परिसीमन भी हो जाएगा, सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई भी चल रही होगी - और चुनाव लायक माहौल भी. सत्यपाल मलिक ने संकेत दिया है कि नेता 6 महीने नजरबंद रहेंगे.
सियासत
| बड़ा आर्टिकल
आईचौक
@iChowk
राहुल गांधी का कश्मीर दौरा कांग्रेस के हिस्से में एक और नाकामी लिख गया
चाहे धारा 370 का मामला हो या चिदंबरम केस ही कांग्रेस नेतृत्व ने हैंडल करने में राजनीतिक अपरिपक्वता तो दिखायी ही है, मौके भी गंवा दिये हैं. ये सारे वाकये बता रहे हैं कि आधे मन से किये गये काम के नतीजे भी ऐसे ही होते हैं.